शिंदे के नाराजगी के बीच उद्धव का हैरान करने वाला ऐलान बोले हम बीजेपी के

महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के 6 दिन बाद भी सरकार के गठन में पेंच फंसा हुआ है. महायुति सरकार के गठन को लेकर लगातार सस्पेंस जारी है.

इस बीच शनिवार को महाराष्ट्र में सरकार गठन में देरी को लेकर शिवसेना (युबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने महायुति पर जमकर हमला बोला है.

उद्धव ठाकरे ने दावा किया कि सत्तारूढ़ महायुति में शामिल पार्टियों ने कभी नहीं सोचा था कि वे दोबारा सत्ता में आएंगी. इसलिए महाराष्ट्र में सरकार गठन में देरी हो रही है.

ठाकरे की इस टिप्पणी के कुछ घंटे बाद, बीजेपी ने नई महायुति सरकार के गठन की तारीख का ऐलान किया. नई महायुति सरकार 5 दिसंबर की शाम मुंबई के आजाद मैदान में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मौजूदगी में शपथ लेगी.

उद्धव ठाकरे विधानसभा चुनावों में ईवीएम और धनबल के कथित दुरुपयोग के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले सामाजिक कार्यकर्ता डॉ बाबा आढाव से मिलने के दौरान यह बात कही.

आढाव के बगल में बैठे ठाकरे ने कहा कि महायुति गठबंधन की विशाल जीत के बाद कोई जश्न क्यों नहीं मनाया गया. वहीं, आढाव ने ठाकरे के हाथों से एक गिलास पानी स्वीकार कर अपना आंदोलन समाप्त किया.

पूर्व मुख्यमंत्री ठाकरे ने कहा, ‘जब महा विकास आघाडी (एमवीए) का गठन हुआ उस समय राष्ट्रपति शासन लागू था. इस बार किसी ने सरकार बनाने का दावा नहीं किया है, फिर भी राष्ट्रपति शासन नहीं है.

’ उन्होंने कहा कि महायुति सहयोगियों ने कभी नहीं सोचा था कि वे दोबारा सत्ता में आएंगे, इसलिए उनके पास कोई योजना नहीं थी कि मुख्यमंत्री कौन होगा, मंत्री कौन होंगे.

यही कारण है कि सरकार गठन में समय लग रहा है. शिवसेना (युबीटी) प्रमुख ने यह भी मांग की कि सभी वोटर-वेरिफाइड पेपर ऑडिट ट्रेल (वीवीपीएटी) पर्चियों की गिनती की जानी चाहिए.

ठाकरे ने पूछा, ‘कोई भी देख सकता है कि वोट डाला गया है. लेकिन कोई यह कैसे सत्यापित कर सकता है कि वोट कैसे दर्ज किया गया है.’ इस दौरान उन्होंने विधानसभा चुनाव के मतदान पर भी सवाल किया.

ठाकरे ने कहा कि 20 नवंबर को मतदान के आखिरी एक घंटे में 76 लाख वोट डाले गए, जिसका मतलब है कि इस अवधि के दौरान हर मतदान केंद्र पर औसतन 1 हजार लोगों ने मतदान किया. उन्होंने दावा किया कि मतदान केंद्रों के बाहर लगी कतारें इस बात को प्रतिबिंबित नहीं करती हैं.