Mayawati Rally in Lucknow: बहुजन समाज पार्टी (BSP) के संस्थापक कांशीराम की पुण्यतिथि पर गुरुवार (9 अक्टूबर) को राजधानी लखनऊ
में बड़ी रैली का आयोजन हुआ। इसके जरिए बसपा सुप्रीमो मायावती ने शक्ति प्रदर्शन किया।लखनऊ में आयोजित रैली में भारी भीड़ उमड़ी।
यहां कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए एक ओर तो मायावती ने योगी सरकार की तारीफ की। दूसरी ओर वो समाजवादी पार्टी पर जुबानी वार भी
करती नजर आईं।मायावती ने कहा कि वर्तमान की BJP सरकार समाजवादी पार्टी के जैसे नहीं है। उन्होंने सपा पर कांशीराम स्थल की टिकटों का पैसा दबाने
का आरोप लगाया और कहा कि भाजपा ने ऐसा नहीं किया। बसपा प्रमुख ने इसके लिए योगी सरकार का आभारलखनऊ में रैली को संबोधित करते
हुए मायावती ने कहा, “जब उत्तर प्रदेश में हमारी सरकार थी। कांशीराम के आदर-सम्मान में यह स्मारक स्थल बनाया गया था। उसी समय हमारी सरकार
ने ये व्यवस्था की थी कि हम लोग यहां आने वालों से टिकट लेंगे। इसका पैसा लखनऊ में बनाए गए स्मारक और पार्कों के रख-रखाव में इस्तेमाल किया
जाएगा, लेकिन दुख की बात यह है कि जब यहां सपा की सरकार थी तो उस टिकट के पैसे को दबाकर रखा। हालत बहुत जर्जर हो चुकी थी।”उन्होंने कहा,
“मैंने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को लिखित चिट्ठी के जरिए आग्रह किया कि टिकटों के पैसे को रखरखाव पर लगाया जाए। उत्तर प्रदेश की वर्तमान
भाजपा सरकार ने इस मामले को संज्ञान में लेकर हमसे वादा किया कि जो भी पैसा टिकटों के जरिए आता है वह इन स्थलों के रखरखाव के लिए
लगाया जाएगा इसलिए हमारी पार्टी उनकी (भाजपा सरकार) आभारी है।”मायावती ने बरसते हुए कहा कि जब वे (समाजवादी पार्टी) सरकार में रहते हैं तो न उन्हें PDA याद आता है, न कांशीराम जी की जयंती और न ही पुण्यतिथि लेकिन जब वे सत्ता से बाहर
हो जाते हैं तो समाजवादी पार्टी को याद आता है कि हमें संगोष्ठी करनी उन्होंने कहा कि मैं अखिलेश यादव से पूछना चाहती हूं कि अगर कांशीराम जी के प्रति आपका इतना ही आदर सम्मान था तो जब उत्तर प्रदेश में हमारी सरकार थी और हमने अलीगढ़ मंडल में कासगंज नाम से एक जिला बनाया और उस जिले
का नाम कांशीराम जी के नाम पर रखा गया था। समाजवादी पार्टी ने सत्ता में आते ही उसका नाम क्यों बदल दिया? हमने कांशीराम जी के नाम पर अनेकों संस्थानों के नाम रखें, अनेक योजनाएं शुरू की जिसे समाजवादी पार्टी ने सत्ता में आते ही बंद कर दिया। यह उनका दोहरा चरित्र नहीं है तो क्या है?BSP सुप्रीमो ने कहा कि बाबा साहेब डॉ. बीआर
अंबेडकर ने कहा था कि देश में राजनीतिक सत्ता एक ऐसी कुंजी है जिसके माध्यम से ये समुदाय अपनी सभी समस्याओं का समाधान स्वयं कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि इमरजेंसी के दौरान संविधान को कुचला गया। बाबा साहेब को संसद नहीं पहुंचने दिया थ
बाबा साहेब को भारत रत्न नहीं दिया था।उन्होंने कहा कि बीएसपी की सरकार बनाना बहुत जरूरी है। EVM वाला सिस्टम खत्म हो सकता है। ईवीएम पर धांधली के आरोप लगते रहे हैं। दलितों का वोट बांटने का काम हो रहा है। समाज के स्वार्थी लोगों का प्रयोग हो रहा है। ऐसी स्वार्थी लोगों से सावधान रहना होगा।